राजस्थान के कोटा से गायब शिवपुरी की छात्रा इंदौर में मिली है। इंदौर क्राइम ब्रांच ने छात्रा और उसके दोस्त ढूंढ लिया है। दोनों छात्रा की सहेली के रूम में रह रहे थे। इससे पहले दोनों काफी समय तक अमृतसर में रहे। पैसे खत्म होने पर गुरुद्वारा में समय बिताया। इंदौर क्राइम ब्रांच ने कोटा पुलिस को सूचना दे दी है। छात्रा और उसके दोस्त को कोटा पुलिस के हवाले किया जाएगा।
ये है पूरा मामला
शिवपुरी के बैराड़ की रहने वाली 20 साल की काव्या धाकड़ 18 मार्च को अपने दोस्त हर्षित के साथ लापता हुई थी। काव्या के पिता रघुवीर धाकड़ ने उसे नीट की तैयारी करने कोटा भेजा था। एक कोचिंग में एडमिशन कराया। कोचिंग के पास के हॉस्टल में ठहरवाया था।
पिता को 18 मार्च की दोपहर 3 बजे वॉट्सएप पर एक मैसेज आया। मैसेज में काव्या के हाथ-पैर और मुंह बंधी फोटो भेजी गई थी। उसे जिंदा छोड़ने के एवज में 30 लाख रुपए की फिरौती मांगी गई थी। मैसेज भेजने वाले ने बैंक खाते की डिटेल भी भेजी थी। रघुवीर ने इसकी शिकायत पुलिस से की। जिसके बाद मामला कोटा पुलिस को भेजा गया।
कोटा पुलिस को जांच में पता चला कि किडनैपिंग की कहानी झूठी है। कोचिंग सेंटर का कहना था कि काव्या नाम की कोई स्टूडेंट उनके यहां नहीं पढ़ती। वहीं हॉस्टल संचालक ने भी यही बात कही। जिसके बाद पुलिस को काव्या उसके दोस्त के साथ जयपुर में सीसीटीवी फुटेज में नजर आई।
काव्या अपने ने अपने दो दोस्तों के साथ अपनी किडनैपिंग की साजिश रची थी। वह विदेश जाना चाहते थे। इसके लिए काव्या के पिता से 30 लाख रुपए मांगे थे। छात्रा के हाथ-पैर और मुंह बंधे हुए फोटो इंदौर में दोस्त के घर में लिए थे। जो पिता को वॉट्सएप किए गए।
पूरे मामले के खुलासे के बाद इंदौर क्राइम ब्रांच और राजस्थान पुलिस की टीमें छात्रा और उसके साथी को खोज रही थी। पता बताने वाले को 20 हजार रुपए इनाम देने की भी घोषणा की थी।
इंदौर में 20 मार्च को छात्रा और उसके दोस्त का सीसीटीवी वीडियो सामने आया था। यहां से दोनों अमृतसर के लिए निकले थे। 1 अप्रैल को दोनों इंदौर लौटे। देवगुराड़िया के पास शिवाजी नगर में छात्रा ने सहेली की मदद से किराए से कमरा ले लिया था।